देवभूमि उधमिता के तहत छात्रों को बौद्धिक संपदा अधिकारों के तहत जानकारी दी।
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By संवाददाता, सुभाष पिमोली
Published - 09 April 2024 36 views
चमोली उत्तराखंड । राजकीय महाविद्यालय नंदा सैण में आयोजित देवभूमि उद्यमिता योजना प्रशिक्षण कार्यक्रम में छात्रों को बौद्धिक संपदा अधिकारों के बारे में जानकारी दी गई। कार्यक्रम समंवयक रमेश जोशी ने बताया कि आईपीआर कानूनी संरक्षण का एक रूप है जो ब्यक्तियों और कंपनियों को उनके रचनात्मक एवम अभिनव कार्यों के लिये प्रदान किया जाता है। उन्होंने पेटेंट, कॉपीराइट, डिजाइन, एगमार्क और हॉलमार्क के बारे में बताते हुये कहा कि इनके द्वारा हम अपने अविष्कार, रचनाओं, उत्पाद आदि को का निर्धारित समय सीमा के लिये कानूनी सुरक्षा प्रदान कर सकते हैं। वर्तमान समय में बौद्धिक संपदा सबसे मूल्यवान संपत्ति है क्योकिं यह मानवीय विकास को गति देने वाले तकनीकी नवाचार को पुरस्कृत करती है। साथ ही इससे ब्यवसायिक लाभ भी प्राप्त होता है। इसलिये नए खोज,रचनायें, उत्पाद, आदि का आईपीआर लेना जरूरी है। इस प्रशिक्षण कार्यक्रम में 51 छात्र छात्रायें भाग ले रही हैं।
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